लोन लेने वालों के लिए महत्वपूर्ण जानकारी EMI Bounce

EMI Bounce: आधुनिक समय में होम लोन, कार लोन और पर्सनल लोन हमारे जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा बन गए हैं। हर महीने इन ऋणों की समान मासिक किस्त (ईएमआई) का भुगतान करना आवश्यक होता है। जब आपके बैंक खाते में ईएमआई निकालने के समय पर्याप्त पैसे नहीं होते और बैंक निर्धारित राशि काट नहीं पाता, तो इसे ‘ईएमआई बाउंस’ कहा जाता है। यह स्थिति न केवल आपके बैंक द्वारा जुर्माना लगाने का कारण बनती है, बल्कि आपके क्रेडिट स्कोर को भी गंभीर रूप से प्रभावित करती है, जिससे भविष्य में ऋण लेना मुश्किल हो सकता है।

ईएमआई बाउंस होने पर क्या करें?

अगर आपकी ईएमआई बाउंस हो गई है, तो घबराएं नहीं। सबसे पहले अपने बैंक या ऋण प्रदाता से तुरंत संपर्क करें। उन्हें अपनी वर्तमान आर्थिक स्थिति के बारे में बताएं और समाधान के लिए अनुरोध करें। कई बार बैंक ग्राहकों की परिस्थितियों को समझते हुए ईएमआई को फिर से निर्धारित करने या कुछ महीनों के लिए स्थगित करने का विकल्प दे सकते हैं। बैंक मैनेजर से व्यक्तिगत रूप से बात करना अक्सर मददगार साबित होता है।

बैंक द्वारा लगाए गए अतिरिक्त शुल्क और जुर्माने के बारे में भी पूछें। आमतौर पर, बैंक ईएमआई बाउंस पर 300 रुपये से 1000 रुपये तक का शुल्क ले सकते हैं, साथ ही ऋण खाते में देरी के लिए अतिरिक्त ब्याज भी जोड़ सकते हैं। इन शुल्कों की जानकारी रखना बहुत जरूरी है ताकि आप भविष्य में इनसे बच सकें।

Also Read:
RBI Rule For Loan अब लोन नहीं भरने वालों की खैर नहीं, RBI लाया सख्त नियम RBI Rule For Loan

ईएमआई बाउंस से बचने के उपाय

ईएमआई बाउंस से बचने के लिए कुछ प्रभावी उपाय अपनाए जा सकते हैं। सबसे पहले, अपनी आय और खर्च का सही प्रबंधन करें। ऋण लेते समय यह सुनिश्चित करें कि आपकी मासिक आय ईएमआई को आसानी से कवर कर सकती है। एक उपयोगी नियम यह है कि सभी ऋणों की ईएमआई आपकी मासिक आय के 40% से अधिक नहीं होनी चाहिए।

ऑटो-डेबिट सुविधा का उपयोग करें, जिससे ईएमआई स्वचालित रूप से आपके खाते से कट जाए। यह सुनिश्चित करें कि ईएमआई की तारीख से पहले आपके खाते में पर्याप्त धनराशि हो। कुछ लोग ईएमआई के लिए एक अलग बैंक खाता भी रखते हैं, जिसमें वे हर महीने पैसे जमा करते हैं।

आपातकालीन स्थिति के लिए एक अलग फंड तैयार रखें। इस फंड में कम से कम तीन से छह महीने की ईएमआई के बराबर राशि होनी चाहिए, जिससे अचानक आय में कमी या नौकरी छूटने जैसी स्थिति में भी आप ईएमआई का भुगतान कर सकें। साथ ही, अगर पहले से कोई ऋण चल रहा है और भुगतान में कठिनाई हो रही है, तो नया ऋण लेने से बचें।

Also Read:
Ration Card Gramin List सिर्फ इनको मिलेगा फ्री गेहूँ, चावल, नमक, बाजरा, राशन कार्ड की नई लिस्ट जारी Ration Card Gramin List

ऋण लेने से पहले किन बातों का रखें ध्यान?

ऋण लेने से पहले कुछ महत्वपूर्ण बातों पर विचार करना चाहिए। सबसे पहले, ऋण के दस्तावेजों पर हस्ताक्षर करने से पहले बैंक की सभी शर्तें अच्छी तरह से पढ़ें और समझें। पूर्व भुगतान शुल्क, देरी से भुगतान करने पर जुर्माना और अन्य शर्तों के बारे में जानकारी प्राप्त करें।

सही बैंक और ब्याज दर का चयन करें। विभिन्न बैंकों की ब्याज दरों की तुलना करें और कम ब्याज दर वाले बैंक को चुनें, जिससे ईएमआई की राशि कम हो। साथ ही, फिक्स्ड और फ्लोटिंग ब्याज दरों के बीच अंतर को समझें और अपनी जरूरतों के अनुसार चुनें।

अगर आप किसी के ऋण के गारंटर बनने जा रहे हैं, तो इस निर्णय को गंभीरता से लें। याद रखें, अगर मूल ऋणी भुगतान नहीं करता, तो गारंटर को भुगतान करना होगा। इसलिए, केवल उन लोगों के लिए गारंटर बनें, जिन पर आप पूरी तरह भरोसा करते हैं।

Also Read:
EPFO Pension Hike 2025 ₹7,500 हो PF की मिनिमम पेंशन, जानिए किसने की है यह सिफारिश? EPFO Pension Hike 2025

ऋण जल्दी चुकाने के तरीके

ऋण को जल्दी चुकाने के लिए कुछ प्रभावी रणनीतियां अपनाई जा सकती हैं। अपनी अतिरिक्त आय, जैसे बोनस या वेतन वृद्धि का उपयोग ऋण के पूर्व भुगतान के लिए करें। कई बैंक पूर्व भुगतान पर शुल्क लेते हैं, इसलिए पहले इस बारे में जानकारी प्राप्त करें।

अगर कोई दूसरा बैंक कम ब्याज दर पर ऋण प्रदान कर रहा है, तो बैलेंस ट्रांसफर का विकल्प चुनें। इससे आप अपने मौजूदा ऋण को कम ब्याज दर वाले बैंक में स्थानांतरित कर सकते हैं, जिससे ईएमआई कम हो जाएगी या ऋण जल्दी चुकता हो जाएगा।

यदि संभव हो, तो छोटी अवधि के ऋण का चयन करें। छोटी अवधि के ऋणों पर कुल ब्याज कम लगता है, हालांकि ईएमआई अधिक हो सकती है। इससे ऋण जल्दी चुकता हो जाता है और आप ब्याज के रूप में कम भुगतान करते हैं।

अस्वीकरण: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। किसी भी वित्तीय निर्णय से पहले कृपया अपने बैंक या वित्तीय सलाहकार से परामर्श करें। बैंक की नीतियां समय के साथ बदल सकती हैं।

Leave a Comment